जीवन परिचय : डॉ अतुल कोठारी
- शिक्षा संस्कृति उत्थान न्यास, नई दिल्ली के राष्ट्रीय सचिव।
- शिक्षा के विभिन्न विषयों के विशेषज्ञ के रूप में देश के विश्वविद्यालय एवं शैक्षिक संस्थाओं से सम्बद्ध।
- भारतीय भाषा मंच, भारतीय भाषा अभियान एवं शिक्षा स्वास्थ्य न्यास के संस्थापक संरक्षक।
पूर्व दायित्व
- पंजाब तकनीकी विश्वविद्यालय के वेल्यू एज्युकेशन बोर्ड ऑफ स्टडीज के सदस्य।
- हिमाचल प्रदेश स्कूल बोर्ड के सदस्य।
- ‘’ चरित्र-निर्माण एवं व्यक्तित्व के समग्र विकास ’’ पाठ्यक्रम समिति के सदस्य।
लेखन, संपादन व प्रकाशन
- राष्ट्रीय शिक्षा भारतीय संकल्पना
- शिक्षा में स्वायत्तता का सम्पादन
- शिक्षा विकल्प एवं आयाम
- राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020: भारतीय का पुनरूत्थान
- HIGHER EDUCATION- BHARATIYA PERSPECTIVE
- शिक्षा में नये विकल्प का प्रारूप
- उच्च शिक्षा : भारतीय भारतीय दृष्टि
- शिक्षा संवाद-अटल बिहारी वाजपेयी
- शिक्षा में भारतीयता-एक विमर्श
- AN ALTERNATIVE PERSPECTIVE ON EDUCATION
- ‘’ शिक्षा उत्थान ’’ द्विमासिक पत्रिका के सम्पादक।
- शिक्षा सम्बन्धित 115
- शोधपत्र एवं आलेख विभिन्न पत्र-पत्रिकाओं व समाचार पत्रों में प्रकाशित।
उपलब्धियां व सम्मान
- वर्ष 2015 में अमेरिका के प्रवास में विश्वधर्म सम्मेलन में सम्बोधन।
- वर्ष 2015 में भोपाल में आयोजित ‘’ विश्व हिन्दी सम्मेलन ‘’ के आयोजित समिति के निमंत्रित सदस्य।
- वर्ष 2016 में मॉरिशस में विश्व हिन्दी सचिवालय के स्थापना-दिवस कार्यक्रम मे ‘’ मुख्य अतिथि’’।
- वर्ष 2023 में विश्व हिन्दी सम्मेलन फिजी में ‘’ पारम्परिक ज्ञान से कृत्रिम मेधा तक ’’ मुख्य वक्ता के रूप में सहभागिता।
- विभिन्न विश्वविद्यालयों के राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 के ट्रास्कफोर्स के मानद सलाहकार।
- राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 से सम्बन्धित 350 से अधिक संगोष्ठियों में मार्गदर्शन।
- वर्ष 2021 मानव रचना इंटरनेशनल इंस्टीटयूट ऑफ रिसर्च एंड स्टडीज द्वारा विद्या वाचस्पति ( डॉक्टरेट )
- वर्ष 2023 मेघालय विज्ञान एवं प्रौद्यागिकी विश्वविद्यालय के द्वारा डि-लिट् की मानद उपाधि से सम्मानित।
- शिक्षा मंत्रालय भारत सरकार के केन्द्रीय हिंदी संस्थान के ‘’ पंडित मदनमोहन मालवीय पुरस्कार ‘’ से सम्मानित।
- इसके अतिरिक्त कई शैक्षिक एवं सामाजिक संस्थाओं द्वारा विभिन्न सम्मानों से सम्मानित।
- आपके संरक्षण में शिक्षा संस्कृति उत्थान न्यास के द्वारा हजारों की संख्या में शैक्षिक विमर्श का देशभर में आयोजन किया गया है।
निम्नाकिंत विचार-सूत्रों के पुरस्कर्ता-
- ‘’ देश को बदलना है, तो शिक्षा को बदलना होगा ’’
- ‘’ समस्या की नहीं, समाधान की ‘’ चर्चा करें।
- ‘’ मॉं , मातृभूमि एवं मातृभाषा का कोई विकल्प नहीं ‘’।